रूद्रपुर 10 अगस्त - जिलाधिकारी डाॅ0 आशीष कुमार श्रीवास्तव ने विकास भवन सभागार में इन्दिरा आवास, मनरेगा, शौचालय निर्माण, आधार सीडिंग आदि कार्याें की समीक्षा कर सभी खण्ड विकास अधिकारियों को कार्याें में तेजी लाने के निर्देश  दिये। इन्दिरा आवास योजना की समीक्षा के दौरान उन्होंने सभी खण्ड विकास अधिकारियों को निर्देष दिये कि इन्दिरा आवास योजना के अन्तर्गत वर्ष 2014-15 से पूर्व के प्रस्तावों के एफटीओ नम्बर 12 अगस्त तक उपलब्ध करा दियेे जायें। उन्होंने निर्देष दिये कि वर्ष  2014-15 में स्वीकृत इन्दिरा आवासों के द्वितीय व तृतीय किस्त के प्रस्ताव शीघ्र उपलब्ध कराये जायें ताकि पात्रों को किस्तों का भुगतान किया जा सके। 

समीक्षा के दौरान पाया गया कि कुछ लोगों ने इन्दिरा आवास योजना के अन्तर्गत पैसा लेकर आवासों का निमार्ण नहीं किया है तथा योजना का पैसा जब्त कर लिया है। इस पर जिलाधिकारी ने सभी बीडीओ को निर्देष दिये कि पूर्व के दस्तावेजों की जांचकर यह पुश्टि की जाये कि तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारियों द्वारा मानकों के अनुसार ही इन्दिरा आवासों को स्वीकृत किया है अथवा नहीं। यदि ऐसे लोगो को आवासों का आवंटन हुआ है जिनके पास पहले से आवास थे तो तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारियों के खिलाफ कार्यवाही अमल में लायी जाये, साथ ही ऐसे लोगों से इन्दिरा आवास की धनराषि वापिस ली जाये । खटीमा क्षेत्र में वर्श 2014-15 के इन्दिरा आवासों के मामलों में गडगडी पाये जाने पर जिलाधिकारी ने डीडीओ आरसी तिवारी को जांच अधिकारी नामित कर 15 दिन के भीतर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देष दिये। उन्होंने सभी बीडीओ को निर्देश दिये कि सभी विकास खण्डों में वर्श 2015-16 में इन्दिरा आवासों हेतु प्रदत कुल लक्ष्य के सापेक्ष 20 प्रतिशत आवासों का निमार्ण अगस्त माह के अन्त तक हर हाल में कर लिया जाये। मनरेगा की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने निर्देश दिये कि मनरेगा के अन्तर्गत किये जाने वाले कार्याें में 50 प्रतिषत महिलाओं व 20 प्रतिशत अनुसूचित वर्ग के मजदूरों की भागीदारी सुनिष्चित की जाय। उन्होंने कहा कि प्रत्येक विकास खण्ड में मनरेगा के मजदूरों  को 100 दिन का रोजगार दिया जाय। साथ ही मनरेगा के तहत किये जाने वाले प्रत्येक कार्य में विकलांग मजदूरों को भी रोजगार दिया जाय। उन्होंने बीडीओ गदरपुर, सिंतारगंज, खटीमा व रुद्रपुर द्वारा मेटेरियल का भुगतान न किये जाने पर नाराजगी जताते हुए षीघ्र्र भुगतान किये जाने के निर्देश दिये। जिलाधिकारी ने निर्देष दिये कि व्यक्तिगत लाभ योजनाओं का फायदा केवल मनरेगा के मजदूरों व स्वयं सहायता समूहो के लागों को ही दिया जाय। मुर्गीबाडा, बकरीशेड, कम्पोस्ट पिट आदि व्यक्तिगत लाभ की योजनाओं में बीडीओ बाजपुर  के खराब प्रदर्षन पर जिलाधिकारी ने कडी फटकार लगाई। उन्होंने निर्देश दिये कि व्यक्तिगत लाभ योजनाओं के अन्तर्गत होने वाले निर्माण कार्य तेजी से किये जायें। साथ ही निर्देष दिये कि जल संरक्षण व संवर्धन हेतु लगातार अभियान चलाकर तालाब निर्माण के कार्य दो माह के भीतर पूरे किये जायें। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय  ग्रामीण आजीविका मिषन के अन्तर्गत लक्ष्य के अनुसार स्वयं सहायता समूहों के गठन में तेजी लायी जाये। विधायक निधि के कार्याें की समीक्षा करते हुए उन्होंने ग्रामीण निर्माण विभाग के अधिकारियों को निर्देष दिये कि वे क्षेत्र में किस प्रकार से कार्य करेगें, इसकी कार्ययोजना बनाकर प्रस्तुत करें। जिलाधिकारी ने सभी खण्ड विकास अधिकारियों को निर्देष दिये कि उन्हें विभिन्न योजनाओं के क्रियान्वयन हेतु जो भी लक्ष्य प्रदान किये गये हैं समय पर पूर्ण किये जायें अन्यथा सम्बन्धित बीडीओ के खिलाफ अनुषासनात्मक कार्यवाही अमल में लायी जायेगी। 
बैठक में पीडी बालकृश्ण, डीडीओ आरसी तिवारी, एपीडी रमा गोस्वामी, खण्ड विकास अधिकारी विमल कुमार, तेजबाला आर्य, मीना मैनाली, एचसी जोशी , जेसी गुणवन्त, श्याम  किशोर व डीसी जोशी , स्वजल से बालकृश्ण मलकानी आदि उपस्थित थे।

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