भारत युवाओं का देश है , यहाँ लगभग 60% से ज्यादा युवाओं की आबादी है। लेकिन हमारे  देश के बहुत से ठेकेदार युवाओं को समझने में नाकाम साबित हो रहे है। और आज के युवा जो चाहते है, उन्हें नहीं मिल रहा है। हमारे अनेक मंत्री, सरकारे, प्रशासन और सरकारी तंत्र अपने पुराने ढर्रे पर चल रहा है। पुराने ढर्रे पर चलने वाले लोग समय की कीमत नहीं जानते। आज का युवा बहुत तेज और आगे की सोचकर चलता है। उसके पास समय बर्बाद करने का भी समय नहीं है। लेकिन सरकारी तंत्र की लेट लतीफी युवाओं के भविष्य में बहुत बड़ी बाधा है। इसी प्रकार यातायात व्यवस्था से भी समय की बहुत बर्बादी होती है , सड़को के खराब होने से समय और पेट्रोल-डीजल की भी बर्बादी होती है। ऐसे कई उदाहरण है जो आज के युवाओं की तेज रफ़्तार जिंदगी में उन्हें आगे बढ़ने से रोक रहे है। हमारे मंत्री, सरकारे, प्रशासन और सरकारी तंत्र को अपने आपको जल्द से जल्द बदलना होगा और युवाओं की सोच के मुताबिक  ढालना होगा , नहीं तो युवाओं का सब्र  कई बार टूट चूका है और आगे भी स्थिति और ख़राब हो सकती है।